भारत बना अक्षय ऊर्जा की राजधानी: केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी
5वां सीआईआई अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा सम्मेलन और प्रदर्शनी
नई दिल्ली - केंद्रीय नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री प्रल्हाद जोशी ने नई दिल्ली में 5वें सीआईआई अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा सम्मेलन एवं प्रदर्शनी (आईईसीई) में भारत की अक्षय ऊर्जा प्रगति पर प्रकाश डालते हुए इसे "दुनिया की अक्षय ऊर्जा राजधानी" करार दिया।
उन्होंने बताया कि 2024 में अप्रैल से नवंबर के बीच भारत ने लगभग 15 गीगावाट नवीकरणीय ऊर्जा जोड़ी, जो पिछले वर्ष की तुलना में दोगुनी है। इसके अलावा, नवंबर 2024 में 2.3 गीगावाट की नई क्षमता जोड़ी गई, जो नवंबर 2023 से चार गुना अधिक है।
भारत 2030 तक 500 गीगावाट गैर-जीवाश्म ईंधन आधारित क्षमता हासिल करने के लिए प्रतिबद्ध है। केंद्रीय मंत्री ने "उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन योजना" और "पीएम सूर्य घर योजना" जैसी पहलों के माध्यम से नवीकरणीय ऊर्जा को बढ़ावा देने पर जोर दिया।
श्री जोशी ने यह भी उल्लेख किया कि भारत ने 120 देशों के साथ अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन की स्थापना की, जो वैश्विक ऊर्जा परिवर्तन में एक महत्वपूर्ण कदम है।
कार्यक्रम के दौरान सीआईआई-ईवाई ऊर्जा परिवर्तन निवेश मॉनिटर रिपोर्ट का भी विमोचन किया गया।