इंडिया पोर्ट्स एंड ग्लोबल कंपनी तेहरान और चाबहार में कार्यालय खोलेगी
तेहरान,22 अगस्त 2022- केन्द्रीय बंदरगाह, नौवहन, जलमार्ग और आयुष मंत्री, सर्बानंद सोनोवाल ने ईरान के उप राष्ट्रपति महामहिम, मोहम्मद मोखबर से तेहरान में मुलाकात की। दोनों नेताओं ने भारत-और ईरान के बीच द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करने के बारे में चर्चा की। भारत के साथ संबंधों के लिए ईरान के विशेष प्रतिनिधि, उप राष्ट्रपति ने भारत के नौवहन मंत्री की यात्रा की सराहना की क्योंकि यह दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय सहयोग को आगे बढ़ाने के लिए प्रोत्साहन प्रदान करता है। उपराष्ट्रपति ने कहा कि चाबहार बंदरगाह के विकास से व्यापार और जहाज में माल की लदाई की मात्रा में वृद्धि होगी। केन्द्रीय मंत्री ने भी चाबहार बंदरगाह को व्यापार नौवहन के क्षेत्रीय विकास का जरिया बनाने के लिए आगे उठाए जाने वाले कदमों पर दोनों पक्षों के सहयोग करने के महत्व पर बल दिया।
ईरान के उप राष्ट्रपति के साथ अपनी मुलाकात के बाद श्री सोनोवाल ने कहा, "ईरान के उपराष्ट्रपति, मोहम्मद मोखबर से मिलकर बेहद प्रसन्नता हुई, जहां हमने भारत और ईरान के जोशपूर्ण द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करने के तरीकों और संसाधनों पर चर्चा की। हम ईरान के साथ अपने गतिशील संबंधों को मजबूत करना जारी रखेंगे। भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी ने मुझे आपसी हितों के लिए लाभकारी संबंधों का विस्तार करने तथा उन्हें और गहरा करने के लिए उच्चतम स्तर की प्रतिबद्धता के बारे में बात करने को कहा है।”
इससे पहले, श्री सोनोवाल ने ईरान के सड़क और शहरी विकास मंत्री, रोस्तम घासेमी के साथ एक द्विपक्षीय बैठक में भाग लिया। इस अवसर पर, दोनों देशों ने समुद्र से यात्रा के लिए प्रशिक्षण, प्रमाणन और निगरानी मानकों पर अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन (1978) के प्रावधानों के अनुसार दोनों देशों के समुद्र से यात्रा करने वालों की मदद के लिए असीमित यात्राओं के योग्यता प्रमाण पत्र की मान्यता पर एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए।
श्री सोनोवाल और रोस्तम घासेमी की भारत-ईरानी संबंधों को गहरा करने पर एक उपयोगी द्विपक्षीय बैठक हुई। समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करने का उद्देश्य दोनों देशों के नाविकों की आवाजाही को सुगम बनाना है। केन्द्रीय मंत्री ने दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों के महत्व को दोहराया। बैठक में श्री सोनोबाल ने क्षेत्र के लिए एक व्यापार गुणक के रूप में चाबहार की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि बंदरगाह के मध्य एशिया और दक्षिण एशिया, यहां तक कि दक्षिण पूर्व एशिया के बीच एक तेज, किफायती व्यापार वाहक के रूप में कार्य करने की संभावना है और इसकी क्षमता का पूरी तरह से दोहन किया जाना बाकी है।
चूंकि इंडिया पोर्ट्स ग्लोबल प्राइवेट लिमिटेड (आईपीजीपीएल) ने शाहिद बेहेश्ती बंदरगाह का संचालन ग्रहण किया है, इसने 4.8 मिलियन टन से अधिक विशाल कार्गो को संभाला है। ईरान के बंदरगाह और समुद्री संगठन, ईरानियन कस्टम्स एडमिनिस्ट्रेशन एंड चाबहार फ्री जोन ऑथरिटी, शाहिद बेहेश्ती पोर्ट अथॉरिटी और अन्य हितधारकों सहित भारत के आईजीपीएल और ईरानी हितधारकों के बीच घनिष्ठ सहयोग के साथ, बंदरगाह के इस क्षेत्र में विशाल व्यापार क्षमता को खोलने के लिए एक उत्प्रेरक के रूप में कार्य करने की संभावना है।
2020 में, भारत ने मानवीय सहायता कार्यक्रम के हिस्से के रूप में एक ठोस प्रयास करते हुए अफगानिस्तान को 75000 टन गेहूं की आपूर्ति की और साथ ही क्षेत्र में कृषि में टिड्डियों का खतरा कम करने और खाद्य सुरक्षा बढ़ाने के लिए ईरान को चाबहार बंदरगाह के माध्यम से 40,000 लीटर मैलाथियान 96 प्रतिशत यूएलवी कीटनाशक की आपूर्ति की। चाबहार बंदरगाह की क्षमता को मजबूत करने के प्रयास में, केन्द्रीय मंत्री ने भारतीय बंदरगाहों ग्लोबल चाबहार फ्री ट्रेड जोन (आईपीजीसीएफटीजेड) के लिए छह मोबाइल हार्बर क्रेन उतारी।
श्री सोनोवाल ईरान के तीन दिवसीय आधिकारिक दौरे पर हैं। अपनी ईरान यात्रा के बाद, मंत्री संयुक्त अरब अमीरात की एक दिवसीय आधिकारिक यात्रा पर जाएंगे जहां वह जेबल अली बंदरगाह का दौरा करेंगे और द्विपक्षीय बैठकों में शामिल होने के साथ-साथ निवेशकों की एक बैठक में भाग लेंगे।